Tuesday, February 2, 2010

Beti kyun itni laachar?

बहा करती थी पीयूष स्रोत-सी
खुशियों से तू ओत-प्रोत थी
फिर क्या हो गया है आज?
बेटी क्यों इतनी लाचार?

आज दशा बेटी की कैसी?
हँसी लुप्त क्यों हो गई वैसी,
जिसमें था खुशियों का अगार?
बेटी क्यों इतनी लाचार?

समाज ने बनाया देवी से दासी
आज बेटी जन्मी तो हो गयी त्रासदी?
भ्रूण-हत्या का क्यों हो रही शिकार?
बेटी क्यों इतनी लाचार?

बेटियां गौरव बढ़ाने वाली
सारी समस्याओं को निवारने वाली
आज क्यों लुप्त हुआ ये विश्वास?
बेटी क्यों इतनी लाचार?

फिर जन्म ले नारी की शक्ति
तभी पूर्ण होगी ईश्वर की भक्ति
बेटी ही पुण्यों का आधार
पर बेटी क्यों इतनी लाचार?

अब तो जागो खोलो ये बंदिश
दहेज़, बाल-विवाह ख़त्म करो ये रंजिश
बेटी को दो सारे अधिकार
बेटी क्यों इतनी लाचार ?
बेटी क्यों इतनी लाचार?

2 comments:

  1. NiCe.. ye tune likhi hai..??
    it is really good.. :)
    keep it goin :)

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  2. yeah maine hi likhi h
    on the spot
    thnx

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